

पहलगाम हमले के बाद भारत ने पाकिस्तान पर प्रतिबंध लगाने के साथ ही जम्मू कश्मीर में मौजूद आतंकवादियों के सहयोगियों के खिलाफ भी सख्त कार्रवाई की है। एक हजार से ज्यादा लोगों को हिरासत में लिया गया है और उनसे पूछताछ जारी है।
पहलगाम हमले के बाद पहली बार जम्मू कश्मीर के सीएम उमर अबदुल्ला ने पीएम मोदी के साथ मुलाकात की है। 25 मिनट तक चली इस मीटिंग में आतंकवाद को खत्म करने को लेकर अहम चर्चा हुई है। पहलगाम घाटी में 22 अप्रैल को दोपहर के समय चार आतंकियों ने पर्यटकों पर हमला किया था, जिसमें 26 लोगों की मौत हुई थी। इसके बाद से जम्मू कश्मीर का पर्यटन बुरी तरह प्रभावित हुआ है। पर्यटन पर आधारित रोजगार लगभग खत्म सा हो गया है। सभी होटल खाली पड़े हैं। लोगों ने बड़े पैमाने पर जम्मू कश्मीर के टिकट और होटल बुकिंग कैंसिल कराई। इस घटना के बाद सेना ने आतंकियों के खिलाफ बड़े पैमाने पर सर्च ऑपरेशन चलाया। वहीं, कश्मीर के नेताओं ने लोगों से बुकिंग कैंसिल न करने की भी अपील की थी। हालांकि, बाद में सुरक्षा कारणों से कई जगहों को पर्यटकों के लिए बंद कर दिया गया।
जम्मू कश्मीर में हमला करने वाले आतंकियों ने पाकिस्तान में ट्रेनिंग ली थी। ऐसे में भारत ने आतंकियों के पनाह देने वाले पाकिस्तान के साथ सिंधु जल समझौता रद्द कर दिया और सभी पाकिस्तानी नागरिकों के वीजा भी कैंसिल कर दिए। अधिकतर पाकिस्तानी नागरिक अपने देश वापस लौट चुके हैं। हालांकि, कुछ लोग अभी भी भारत में मौजूद हैं और इनमें से अधिकतर भारत में ही रहना चाहते हैं।
