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ब्रिक्स में कारोबार के लिए बना मास्टर प्लान

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16वां ब्रिक्स शिखर सम्मेलन (फाइल फोटो)

रूस ब्राजील दक्षिण अफ्रीका भारत चीन यूएई इथियोपिया सऊदी अरब मिस्त्र और ईरान की सदस्यता वाले इस संगठन की बैठक में आतंकवाद के मुद्दे पर भारत के नजरिये का समर्थन किया गया है। इसमें हर तरह के आतंकवाद की निंदा करते हुए इसे वैश्विक खतरे के तौर पर चिह्नित किया गया है। सभी देशों ने आतंकवाद पर एक-दूसरे के सुर में सुर मिलाया।

वैश्विक कारोबार में अमेरिकी डॉलर की प्रमुखता को कजान से बड़ी चुनौती मिली है। रूस के इस शहर में ब्रिक्स देशों की बैठक के बाद बुधवार देर रात जारी कजान घोषणा-पत्र में कहा गया है कि सदस्य देश अपनी-अपनी मुद्राओं में आपसी कारोबार करने को प्राथमिकता देंगे और इसके जरिये ही आपसी कारोबार बढ़ाएंगे।

अंतरराष्ट्रीय लेन-देन पर बातचीत
सम्मेलन में ब्रिक्स देशों के वित्तीय ढांचे को आपस में जोड़ने, अंतरराष्ट्रीय वित्तीय लेन-देन के सेटलमेंट के लिए एक स्वतंत्र व्यवस्था बनाने और एक पुर्नबीमा कंपनी की स्थापना करने का अध्ययन कराने का भी फैसला किया गया है।
घोषणा-पत्र के जरिये राजनीतिक संदेश

घोषणा-पत्र में यूक्रेन विवाद को लेकर बहुत कुछ तो नहीं कहा गया है, लेकिन फलस्तीन-इजरायल के संघर्ष का विस्तार से जिक्र किया गया है और वहां अंतरराष्ट्रीय कानून लागू करने की मांग की गई है। साथ ही अगल फलस्तीन राष्ट्र को पूरा समर्थन देने की बात है। साथ ही गाजा पट्टी व वेस्ट बैंक में मानवीय त्रासदी पर चिंता जताई गई है। साफ है कि कजान घोषणा-पत्र के जरिये राजनीतिक संदेश देने में रूस की तरफ से कोई कसर नहीं छोड़ी गई है।

मुख्य बातें
1. ब्रिक्स देशों की तरफ से निर्मित मौजूदा न्यू डेवलपमेंट बैंक (एनडीबी) को एक नए विकास बैंक के तौर पर विकसित किया जाएगा। ताकि सदस्य देशों को पारदर्शी तरीके से विकास कार्यों के लिए ज्यादा कर्ज मिल सके। स्थानीय मुद्रा में ज्यादा कर्ज देगा एनडीबी।2. वैश्विक कर्ज के बढ़ते स्तर पर ¨चता। इसे एक वैश्विक समस्या के तौर पर चिह्नित करते हुए इसका समग्र तौर पर समाधान निकालने के लिए जी-20 फ्रेमवर्क को लागू करने की मांग।

3. ब्रिक्स देशों के बीच आतंकवाद के विरुद्ध सहयोग बढ़ाया जाएगा। किसी भी सूरत में आतंकवाद का समर्थन नहीं करने की बात। इस बारे में किसी तरह के दोहरापन नहीं किए जाने का आह्वान।

4. अंतरराष्ट्रीय कारोबार में मौजूदा बाधाओं को दूर करने और उन्हें हर देश के लिए समान तौर पर लागू करने का समर्थन। तीव्र व कम लागत वाली, ज्यादा प्रभावशाली, सुरक्षित व पारदर्शी वित्तीय भुगतान प्रणाली की जरूरत बताते हुए सदस्यों के बीच स्थानीय मुद्रा में कारोबार को प्रोत्साहन देने का आह्वान।

5. सदस्य देशों के वित्त मंत्रियों व केंद्रीय बैकों को स्थानीय मुद्रा में कारोबार, भुगतान की नई व्यवस्था पर अध्ययन कर अगली बैठक में रिपोर्ट पेश करने का निर्देश।

6. डिजिटल कनेक्टिविटी को बढ़ावा दिया जाएगा। आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस के प्रभावशाली वैश्विक गवर्नेंस को बढ़ावा देने और इसमें संयुक्त राष्ट्र की अहम भूमिका का समर्थन।

7. पश्चिम एशिया के मौजूदा संघर्ष से जुड़े सभी पक्षों से आग्रह किया कि वे इसे ज्यादा न भड़काएं, एक दूसरे के विरुद्ध उकसावे की कार्रवाई से बचें व संयुक्त राष्ट्र में फलस्तीन को पूर्ण सदस्यता मिले।

8. लेबनान पर इजरायल के हमले की कड़ी ¨नदा, लेबनान की संप्रभुता का आदर करने की बात, सीरिया की संप्रभुता का भी समर्थन।

9. पश्चिमी प्रतिबंधों को अवैध और एकतरफा बताया जिसके वैश्विक अर्थव्यवस्था व अंतरराष्ट्रीय व्यापार पर पड़े रहे असर पर ¨चता जताई।

10. वैश्विक महामारी की रोकथाम के लिए ब्रिक्स वैक्सीन सेंटर का किया समर्थन। इंटरनेशनल बिग कैट अलायंस बनाने की भारत की पहल पर लिया संज्ञान।

11. विकासशील देशों के लिए आगामी जलवायु सम्मेलन में अधिक धन की अपेक्षा जताई।

 

Red Max Media
Author: Red Max Media

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