

केरल में आशा कार्यकर्ता अपनी मांगों को लेकर पिछले 50 दिनों से प्रदर्शन कर रही हैं। आज केरल में सचिवालय के सामने कुछ आशा कार्यकर्ताओं ने अपने बाल कटवाकर विरोध किया। इनमें से एक कार्यकर्ता ने अपना सिर मुंडवा लिया। आशा कार्यकर्ता सरकार से अपना मानदेय बढ़ाने की मांग कर रही हैं। केरल में किल 26000 से अधिक आशा कार्यकर्ता हैं।
केरल में अपनी मांगों को लेकर आशा कार्यकर्ता पिछले 50 दिनों से आंदोलन कर रही हैं। सोमवार को उन्होंने बाल कटवाकर अपना विरोध प्रदर्शन दर्ज किया। केरल सचिवालय के पास बड़ी संख्या में आशा कार्यकर्ता पहुंचीं और आंसू बहाते हुए इंकलाब जिंदाबाद के नारे लगाए।
सचिवालय के सामने प्रदर्शन कर रही आशा कार्यकर्ता बाल कटवाने से पहले कुछ दूर तक पैदल चलीं। इसके बाद सरकार की उदासीनता के खिलाफ प्रदर्शन किया और भावनात्मक रूप से अपने बाल कटवाए। विरोध कर रही एक महिला ने तो केरल सरकार के विरोध में अपना सिर मुंडवा लिया।
क्या है आशा कार्यकर्ताओं की मांग?
केरल में आशा कार्यकर्ता अपने वेतन में वृद्धि करने के लिए प्रदर्शन कर रही हैं। आशा कार्यकर्ता अपने मानदेय को 7000 से बढ़ा कर 21000 रुपये करने की मांग कर रही हैं। इसके साथ ही आशा कार्यकर्ताओं की मांग है कि 62 साल की उम्र में रिटायरमेंट होने के बाद उन्हें पांच लाख रुपये का एकमुश्त भुगतान किया जाए।
सड़कों पर आशा कार्यकर्ताओं का प्रदर्शन
प्रदर्शन कर रही एक आशा कार्यकर्ता मिनी ने कहा कि चाहे कुछ भी हो जाए, हम तब तक प्रदर्शन करेंगे जब तक हमारी मांगे पूरी नहीं हो जाती हैं। मिनी का कहना है कि आशा कार्यकर्ताओं के प्रतिदिन 232 रुपये का वेतन मिलता है। हम अपनी जायज मांग के लिए लड़ रहे हैं। दुख की बात है कि राज्य सरकार ने हमारी मांगों को नजरअंदाज किया है। जब तक सरकार कोई सकारात्मक विचार नहीं करती है, हम प्रदर्शन करेंगे।
एक आशा कार्यकर्ता ने कहा कि हम कोई गलत मांग नहीं कर रहे हैं। हम सिर्फ वहीं मांग कर रहे हैं, जो राज्य सरकार ने अपने घोषणा पत्र में वादा किया था कि वह मांगों को पूरा करेंगे। जब तक हमें कोई सकारात्मक परिणाम नहीं मिलता है हम यहीं रहेंगे।
सरकार ने क्या कहा?
जानकारी दें कि केरल में कुल 26000 आशा कार्यकर्ता हैं। इस बीच केरल के सीएम विजयन के नेतृत्व वाली वामपंथी सरकार और उनकी कैबिनेट के साथ पार्टी के नेताओं का कहना है कि केवल कुछ आशा कार्यकर्ता ही प्रदर्शन कर रही हैं। ये प्रदर्शन पिछले कुछ समय से चल रहा है।
बता दें कि सचिवालय के सामने प्रदर्शन कर रही आशा कार्यकर्ताओं को महिलाओं का व्यापक समर्थन मिल रहा है। सोमवार को धरना स्थल पर आशा कार्यकर्ताओं के साथ अन्य लोगों की भारी भीड़ देखने को मिली।
