

नागपुर दंगाः ‘जरूरत पड़ी तो बुलडोजर चलाया जाएगा’, सीएम फडणवीस का बड़ा बयान
गृह विभाग का प्रभार संभाल रहे फडणवीस ने कहा, ‘‘नागपुर हिंसा के दौरान क्षतिग्रस्त हुई संपत्तियों की कीमत दंगाइयों से वसूली जाएगी और भुगतान न करने पर नुकसान की भरपाई के लिए उनकी संपत्तियों को जब्त कर बेचा जाएगा।
नागपुर हिंसा को लेकर महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेन्द्र फडणवीस ने शनिवार को कहा कि यदि आवश्यक हुआ तो बुलडोजर चलाया जाएगा। उनसे जब यह पूछा गया कि क्या नागपुर में हिंसा करने वालों पर ‘उत्तर प्रदेश की शैली’ में कार्रवाई की जाएगी, तो उन्होंने यह टिप्पणी की। फडणवीस ने संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए कहा कि सरकार नागपुर हिंसा के दौरान क्षतिग्रस्त हुई संपत्तियों की कीमत दंगाइयों से वसूलेगी और भुगतान नहीं करने पर उनकी संपत्तियों को जब्त कर बेचा जाएगा। यह पूछे जाने पर कि क्या उत्तर प्रदेश की तर्ज पर नागपुर में भी दंगाइयों के खिलाफ ‘बुलडोजर कार्रवाई’ की जाएगी, फडणवीस ने कहा, ‘‘महाराष्ट्र सरकार की काम करने की अपनी शैली है।
किसी अपराधी को बख्शा नहीं जाएगा
मुख्यमंत्री ने कहा कि किसी भी (अपराधी) को बख्शा नहीं जाएगा। उन्होंने कहा कि हिंसा के दौरान पुलिस अधिकारियों पर हमला करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। फडणवीस ने कहा कि इस घटना को ‘खुफिया विफलता’ नहीं कहा जा सकता, लेकिन खुफिया जानकारी (एकत्रीकरण) बेहतर हो सकती थी। उन्होंने कहा, ‘‘पुलिस सतर्क रहेगी। हम किसी भी तरह की अशांति बर्दाश्त नहीं करेंगे।
अब तक 104 दंगाइयों की हुई पहचान
सीएम फडणवीस ने कहा कि सीसीटीवी कैमरों की फुटेज का विश्लेषण करने के बाद अब तक 104 दंगाइयों की पहचान की गई है और कानून के अनुसार 12 नाबालिगों सहित 92 लोगों के खिलाफ कार्रवाई की गई है। फडणवीस ने कहा कि मध्य नागपुर के इलाकों में सोमवार को हुई हिंसा के कारण 30 मार्च को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का निर्धारित दौरा प्रभावित नहीं होगा।
हिंसक झड़प में कई पुलिसकर्मी हुए थे घायल
बता दें कि छत्रपति संभाजीनगर जिले में स्थित मुगल बादशाह औरंगजेब की कब्र को हटाने की मांग को लेकर विश्व हिंदू परिषद (विहिप) और बजरंग दल के नेतृत्व में हुए प्रदर्शन के दौरान पवित्र आयत लिखी चादर जलाए जाने की अफवाहों के बीच हिंसक भीड़ ने सोमवार शाम नागपुर के कई इलाकों में पथराव और आगजनी की घटनाओं को अंजाम दिया था। हिंसा के परिणामस्वरूप शहर के कई हिस्सों में बड़े पैमाने पर पथराव और आगजनी हुई, जिसमें पुलिस उपायुक्त स्तर के तीन अधिकारियों सहित 33 पुलिसकर्मी घायल हो गए थे।
