

कुलगाम जिले में चल रहे सेना के ऑपरेशन अखल में लुधियाना का रहने वाला जवान शहीद हो गया। 6 महीने पहले यानी फरवरी महीने में ही शहीद जवान की शादी हुई थी।
जम्मू-कश्मीर के कुलगाम के अखल जंगल में लुधियाना जिले का एक जवान शहीद हो गया। शहीद जवान समराला तहसील के मानूपुर गांव का रहने वाला था। 29 वर्षीय प्रितपाल सिंह कुलगाम जिले के अखल जंगल में भारतीय सेना का विशेष ऑपरेशन का हिस्सा था। आतंकियों के साथ सेना की इस मुठभेड़ को ‘ऑपरेशन अखल’ रखा गया है। शहीद जवान की शादी 6 महीने पहले ही हुई थी।
प्रितपाल के बड़े भाई के पास आया सेना का फोन
सेना के खास ऑपरेशन में बीती रात लुधियाना शहर से करीब 40 किलोमीटर दूर पड़ते कस्बा समराला के नज़दीकी गांव मानूपुर का वीर सपूत प्रितपाल सिंह आतंकवादियों से लड़ते हुए शहीद हो गया। सुबह तड़के लगभग 5 बजे प्रितपाल के बड़े भाई हरप्रीत सिंह को प्रितपाल के एक साथी फौजी दोस्त का फोन आया कि उसका छोटा भाई मुठभेड़ में गंभीर रूप से जख्मी हो गया है।
फोन करते ही सेना का जवान रोने लगा
बाद में जब हरप्रीत ने कहा के वो खुद अस्पताल आ जाते हैं तो उसका फौजी दोस्त रोने लग गया, जिससे हरप्रीत समझ गया कुछ बहुत बुरा हो गया है। कुछ देर बाद ही सेना के अधिकारियों ने शहीद के घर फोन कर यह दुखद समाचार दिया कि दुश्मनों से मुकाबले के दौरान प्रितपाल सिंह को गोली लगी है। वह शहीद हो गए हैं।
2015 में भर्ती हुआ था भारतीय सेना में
यह खबर सुनते ही पूरे परिवार और गांव में शोक की लहर दौड़ गई। परिवार के मुताबिक, प्रितपाल सिंह साल 2015 में भारतीय सेना में भर्ती हुए थे। उनके पिता मजदूरी करके परिवार का पालन-पोषण करते हैं। देशभक्ति का यह जज्बा प्रितपाल के चाचा और ताऊ भी सेना से सेवा-निवृत्त हैं।
इसी साल फरवरी महीने में हुई थी शादी
सिर्फ छह महीने पहले ही प्रितपाल सिंह का विवाह 24 फरवरी को मनप्रीत कौर से हुआ था। शादी के समय प्रितपाल सिंह 10 दिन की छुट्टी लेकर घर आया थे। आज वे अपने पीछे वृद्ध माता-पिता और नवविवाहिता पत्नी को छोड़कर अमर हो गए।
सरकार से परिजनों ने की ये खास मांग
शहीद जवान प्रितपाल का पूरा परिवार इस वक्त पूरे सदमें है। प्रितपाल के भाई हरप्रीत व ताऊ ने सरकार से यह मांग की है उन लोगों को किसी भी कीमत बख्शा न जाए जिन्होंने उनसे उनका एक बहादुर जवान छीन लिया है।
